जोड़ों के दर्द से राहत पाने के लिए, आप ये उपाय आज़मा सकते हैं:-

एक से ज़्यादा जोड़ों में एक्यूट अर्थराइटिस के कम आम कारणों में लाइम रोग और गठिया (ऐसा विकार, जो केवल एक जोड़ को भी प्रभावित कर सकता है), प्रमेह और स्ट्रेप्टोकोकल जीवाणु संक्रमण, और रिएक्टिव अर्थराइटिस (वह अर्थराइटिस, जो पाचन या मूत्र तंत्र के किसी संक्रमण के बाद विकसित होता है) शामिल हैं। 

  • नियमित व्यायाम करें, लेकिन तेज़ गति से व्यायाम न करें. 
  • ओमेगा-3 फैटी एसिड से भरपूर आहार लें. 
  • विटामिन डी और विटामिन बी का सेवन करें. 
  • अपना वज़न नियंत्रित रखें. 
  • सुबह गर्म पानी से नहाएं. 
  • एसिटामिनोफ़ेन (टाइलेनॉल) दर्द से राहत दिलाने में मदद कर सकता है. 
  • इबुप्रोफ़ेन या नेप्रोक्सन जैसी नॉनस्टेरॉइडल एंटी-इंफ़्लेमेटरी दवाएं (NSAIDs) दर्द और सूजन से राहत दिला सकती हैं. 
  • तिल का तेल, सरसों का तेल, अरंडी का तेल जैसे तेलों से जोड़ों पर मालिश करें. 
  • आयुर्वेदिक तेलों जैसे महानारायण तैल, निर्गुंडी तैल, कोट्टमचुक्कड़ी तैलम, सहचारदी तैलम, धनवंतरम तैलम का इस्तेमाल करें. 
  • टर्मरिक जिंजर टी पीने से जोड़ों के दर्द और सूजन से राहत मिलती है. 

जोड़ों के दर्द से राहत पाने के लिए, आपको डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. चेतावनी चिह्नों वाले लोगों को तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए. 

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इसका मकसद सिर्फ़ जानकारी देना है. स्वास्थ्य से जुड़ी सलाह या जांच के लिए, किसी पेशेवर डॉक्टर से बात करें. जनरेटिव एआई की सुविधा फ़िलहाल एक्सपेरिमेंट के तौर पर उपलब्ध है

पूरे शरीर में जोड़ों का दर्द कैसे ठीक करें?

गर्म पानी से नहाना, मालिश और स्ट्रेचिंग व्यायाम का जितना संभव हो सके उतना इस्तेमाल करना चाहिए। एसिटामिनोफेन (टाइलेनॉल) दर्द से राहत दिलाने में मदद कर सकता है। इबुप्रोफेन या नेप्रोक्सन जैसी नॉनस्टेरॉइडल एंटी-इंफ्लेमेटरी दवाएँ (NSAIDs) दर्द और सूजन से राहत दिलाने में मदद कर सकती हैं।

किसकी कमी से जोड़ों में दर्द होता है?

विटामिन डी की कमी आम है, लेकिन प्राकृतिक सूर्य के प्रकाश में रहने और विटामिन डी से भरपूर खाद्य पदार्थ खाने से इस स्थिति को रोकने में मदद मिल सकती है। आरए के रोगियों में विटामिन डी की कमी आम बात है, और विटामिन डी का कम स्तर भी जोड़ों के दर्द की गंभीरता में योगदान दे सकता है।

शरीर के हर जॉइंट में दर्द क्यों होता है?जोड़ों के दर्द के कई कारण हो सकते हैं, जिनमें ज़ोरदार शारीरिक गतिविधि का अत्यधिक उपयोग, उपयोग की कमी, मोच या खिंचाव शामिल है। जोड़ों के दर्द में योगदान देने वाली स्थितियों के उदाहरणों में ऑस्टियोआर्थराइटिस, अपक्षयी ऑस्टियोआर्थराइटिस, फ्रोजन शोल्डर और सैक्रोइलियक जॉइंट डिसफंक्शन शामिल हैं। में दर्द के कारण क्या है?

  • संक्रमण होना
  • फ्रैक्चर होना
  • मोच और ऐंठन
  • गाउट
  • अर्थराइटिस
  • गठिया
  • टेंडनाइटीस (मांसपेशियों और हड्डियों को जोड़ने वाले टिस्यू में सूजन)
  • बर्साइटिस (ज्वाइंट में मौजूद तरलयुक्त थैली में सूजन), इत्यादि।

रात में जोड़ों में दर्द क्यों होता है?

जोड़ों का दर्द रात में ज़्यादा स्पष्ट होता है क्योंकि दर्द से ध्यान हटाने के लिए कम विकर्षण होते हैं । काम करना, छोटे-मोटे काम निपटाना या दिन में सिर्फ़ सक्रिय रहना आपको व्यस्त रखता है, इसलिए शांत बेडरूम में कम विकर्षणों के साथ लेटने से आप दर्द पर ज़्यादा ध्यान केंद्रित कर सकते हैं।

जोड़ों के दर्द में क्या नहीं खाना चाहिए?

(प्रसंस्कृत मांस)

ये रसायन सूजन बढ़ाते हैं और जोड़ों के दर्द का कारण बनते हैं। हॉट डॉग, कॉर्न बीफ़, बेकन और सॉसेज जैसे मीट सभी प्रोसेस्ड होते हैं और इनसे बचना चाहिए। इसके बजाय दुबले, ताज़े मीट का सेवन करें।

जोड़ों के दर्द के लिए सबसे अच्छी गोली कौन सी है?

PHC Ortho Care/ Painoment इन दवाओं की OTC खुराक, जिसमें इबुप्रोफेन (एडविल, मोट्रिन IB) और नेप्रोक्सन सोडियम (एलेव) शामिल हैं, दर्द से राहत के लिए उपयोगी हो सकती हैं। उच्च प्रिस्क्रिप्शन खुराक पर वे सूजन से भी राहत दिला सकती हैं। डुलोक्सेटीन (सिम्बल्टा)।

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कैसे पता चलेगा कि विटामिन डी की कमी है?

विटामिन डी की कमी वाले ज़्यादातर लोगों में कोई लक्षण नहीं दिखते। अगर दिखते भी हैं, तो आम लक्षण हैं मांसपेशियों में कमज़ोरी या ऐंठन, हड्डियों में दर्द, थकान महसूस होना या उदास होना। विटामिन डी की कमी से शिशुओं और बच्चों को रिकेट्स हो सकता है।

जोड़ों के दर्द के लिए कौन सी आयुर्वेदिक दवा अच्छी है?

कुछ आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियां जो जोड़ों के दर्द के लिए अच्छी तरह से काम करती हैं, वे हैं- शलाकी, अश्वगंधा, निर्गुंडी, रसना, हरिद्रा (हल्दी), शुंथि (अदरक), आदि। डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। यह किसी भी तरह से किसी दवा या इलाज का विकल्प हो सकता।

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